दूर नजर जाती है मेरी
फागुन नजर आता है
आसमान की चादर पर
सब और, रंग नजर आता है
सूरज तेरी तपिश में भी
ठंडी फुहार का अहसास है
बच्चे, बूढ़े और जवान
सब पर ,रंग नजर आता है
चलो, सब खुशियां मना लो
गिले-शिकवों की होली जला लो
पंछी, भौरे, फूल ,वृक्ष हुये वावरे
संसार मे, सब रंग नजर आता है
सुन विरहिणी, सुन ले मन की
इस फागुन मे ,लाज छोड़ दे,
बाबुल की प्रीत छोड़, - देख
साजन मे, सब रंग नजर आता है
मेघा
28/3/21
Happy holi